बोचहां विधानसभा (सुरक्षित) सीट पर हो रहे उपचुनाव में राजद ने अमर कुमार पासवान को उम्मीदवार बनाने का फैसला लिया है। राजद कार्यालय ने अभी इसकी पुष्टि नहीं की है। देर शाम राजद इसका पत्र जारी कर सकता है। अमर पासवान के करीबियों के अनुसार उन्होंने वीआइपी से इस्तीफा दे दिया है। इसलिए माना जा रहा कि राजद की ओर से ठोस आश्वासन पर ही उन्होंने यह निर्णय लिया है।
मालूम हो कि अमर पासवान के पिता मुसाफिर पासवान के निधन पर यह सीट खाली हुई थी। सीट वीआइपी के खाते में थी, मगर भाजपा ने यहां पहले ही बेबी कुमारी को उम्मीदवार बना दिया। दूसरी ओर अमर पासवान बिना भाजपा की मदद से वीआइपी के सिंबल पर चुनाव लड़ना नहीं चाह रहे थे। इस कारण वह राजद के साथ चले गए।
बता दें कि वीआइपी के दावे को दरकिनार करते हुए पहले ही भाजपा ने बोचहां विधानसभा सीट पर अपनी दावेदारी कर दी है। भाजपा ने विधानसभा उपचुनाव के लिए बेबी कुमारी की उम्मीदवारी घोषित कर दी है। मालूम हो कि वीआइपी विधायक मुसाफिर पासवान के निधन से बोचहां (सुरक्षित) विधानसभा सीट के लिए उपचुनाव हो रहा है। वीआइपी ने मुसाफिर पासवान के पुत्र अमर पासवान को उम्मीदवार बनाने की बात कही थी। सीट पर दावेदारी भी की थी, मगर भाजपा ने अधिकारिक रूप से उम्मीदवार की सूची जारी कर दी। बेबी कुमारी बोचहां सीट से वर्ष 2015 में चुनाव जीती थीं। निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में तत्कालीन राजस्व एवं भूमि सुधार मंत्री रमई राम को हराया था। वहीं अब एक बार फिर रोमांचक मुकाला होने की उम्मीद है।
यूपी विधानसभा चुनाव 2022 के बाद अब बिहार में उप चुनाव को लेकर पल-पल बदल रहा राजनीतिक घटनाक्रम बोचहां विधानसभा उपचुनाव के लिए राजद भी ऐलान कर दिया है। बिहार विधानसभा उपचुनाव 2020 के दौरान यह सीट भाजपा ने अपने कोटे से विकासशील इंसान पार्टी यानी वीआइपी को दी थी। जहां से मुसाफिर पासवान विजयी रहे थे। उनके निधन तथा यूपी विधानसभा चुनाव के दौरान भाजपा के खिलाफ चुनाव मैदान में उतरने के कारण भाजपा ने सन आफ मल्लाह यानी मुकेश सहनी की पार्टी वीआइपी से दूरी बनाने का फैसला किया है
यूपी विधानसभा चुनाव 2022 के बाद अब बिहार में उप चुनाव को लेकर पल-पल बदल रहा राजनीतिक घटनाक्रम बोचहां विधानसभा उपचुनाव के लिए राजद भी ऐलान कर दिया है। बिहार विधानसभा उपचुनाव 2020 के दौरान यह सीट भाजपा ने अपने कोटे से विकासशील इंसान पार्टी यानी वीआइपी को दी थी। जहां से मुसाफिर पासवान विजयी रहे थे। उनके निधन तथा यूपी विधानसभा चुनाव के दौरान भाजपा के खिलाफ चुनाव मैदान में उतरने के कारण भाजपा ने सन आफ मल्लाह यानी मुकेश सहनी की पार्टी वीआइपी से दूरी बनाने का फैसला किया है।
Source : Dainik Jagran