सीतामढ़ी पुलिस केन्द्र में जारी होमगार्ड बहाली प्रक्रिया के अंतिम दिन शुक्रवार को फर्जी अभ्यर्थी संतोष कुमार यादव पकड़ा गया। आरोप है कि संतोष एक लाख रुपये की डील कर दूसरे अभ्यर्थी के बदले शारीरिक दक्षता जांच परीक्षा में दौड़ने आया था। सारी प्रक्रिया पूरी होने के बाद आधार कार्ड की जांच के दौरान मूल व फर्जी अभ्यर्थी का नाम नहीं मिलने पर संतोष को गिरफ्तार कर लिया गया। संतोष कुमार यादव भागलपुर के पीरपैंती थाना क्षेत्र के दुलदुलिया गांव निवासी भगवान यादव का पुत्र है। वह सीतामढ़ी के रुन्नीसैदपुर के मानिकचौक निवासी विद्या सिंह के पुत्र संतोष कुमार सिंह के बदले शारीरिक दक्षता जांच परीक्षा में शामिल होने आया था। कहा जा रहा है कि संतोष यादव के पकड़े जाने पर दो और फर्जी अभ्यर्थी भागने में सफल रहे।
होमगार्ड के जिला समादेष्टा गौतम कुमार ने बताया कि पकड़े गए आरोपित को डुमरा थाने के हवाले कर दिया गया है। बहाली प्रक्रिया के दौरान निबंधन काउंटर पर तैनात बथनाहा प्रखंड के पंचायती राज अधिकारी रामचन्द्र यादव के बयान पर डुमरा थाने में एफआईआर दर्ज की गई है। उन्होंने बताया कि आधार कार्ड की जांच में अभ्यर्थी का नाम बदला हुआ था। पूछताछ में बताया कि आधार में नाम सुधार के लिए आवेदन किया है। इसकी पावती रसीद भी दिखायी, मगर रसीद पर जन्मतिथि बदले जाने का उल्लेख था। इसके बाद फर्जी अभ्यर्थी खुद को फंसता देख भागने का प्रयास करने लगा लेकिन उसे पकड़ लिया गया।
जानकारी के अनुसार, रुन्नीसैदपुर के अभ्यर्थी ने भागलपुर के सुमित कुमार से बहाली प्रक्रिया में शारीरिक दक्षता पास कराने के लिए सेंटिंग की थी। सुमित के कहने पर संतोष यादव एक लाख रुपये के लालच में आकर रुन्नीसैदपुर के अभ्यर्थी के बदले दौड़ने के लिए सीतामढ़ी पुलिस केन्द्र पहुंचा था