बिहार के दरभंगा जिला के घनश्यामपुर में कमला नदी का जलस्तर बढ़ने से बाढ़ का पानी फैलने लगा है। घनश्यामपुर में कमला और कोसी नदी के दोनों तटबंध के बीच घनश्यामपुर प्रखंड के आठ टोले अवस्थित हैं, जिनमें से दो गाव में बाढ़ का पानी प्रवेश कर गया है। घनश्यामपुर के रसियारी में नदी के बीच बने राजकीय मध्य विद्यालय में बाढ़ का पानी पूरी तरह प्रवेश कर गया है। बाढ़ के पानी से घिरे होने के कारण स्कूल में छात्र-छात्राओं की पढ़ाई पूरी तरह बंद हो गई है।
दरअसल, यह समस्या इस इलाके के लिए कोई नई नहीं है। हर साल बाढ़ आने पर सबसे पहले यह स्कूल डूब जाता है। लेकिन इस पर आज तक किसी भी जनप्रतिनिधि ने कोई ठोस कदम नहीं उठाए। इस कारण हर साल जैसे ही दोनों नदी के जलस्तर में बढ़ोतरी होती है कि सबसे पहले स्कूल टापू में तब्दील हो जाता है।
इस स्कूल के प्रधानाध्यापक कृष्ण मोहन यादव ने बताया कि स्कूल आने वाले संपर्क पथ में बाढ़ का पानी आ जाने से पठन-पाठन बाधित हो गया है। इस कारण बच्चों के पठन-पाठन की व्यवस्था प्राथमिक विद्यालय रसियारी में करने की व्यवस्था की जा रही है। उन्होंने बताया कि इस विद्यालय में करीब 200 से ज्यादा छात्र-छात्राएं पढ़ा करते हैं।
स्थानीय पिंकू मिश्रा का कहना है कि अभी दो से तीन महीने तक पानी इसी तरह जमा रहेगा और छात्र-छात्राओं की पढ़ाई बंद रहेगी। ये लोग हर बार प्रसाशन से गुहार लगाते हैं कि स्कूल को दूसरी जगह शिफ्ट करवाया जाए। लेकिन बाढ़ जाने के बाद लोग भूल जाते हैं। इस इलाके के लोग अपने जरूरी काम के लिए नाव का सहारा ले रहे हैं और जरूरत की चीजें इन्हीं नाव से लाते-ले जाते हैं।