केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने सोमवार को उन रिपोर्टों को लेकर चुप्पी तोड़ी, जिनमें ये दावा किया गया है कि वह आगामी बिहार बिहार विधानसभा लड़ सकत हैं। चिराग पासवान ने साफ किया कि उनकी प्राथमिकता “हमेशा बिहार और बिहारी रही है”। उन्होंने कहा कि उन्होंने पार्टी को जल्द ही राज्य की राजनीति में लौटने की इच्छा से अवगत कराया। पासवान ने इस बात पर जोर दिया कि वह बिहार को एक विकसित राज्य के रूप में देखना चाहते हैं, जिसके बारे में उन्होंने कहा, “अगर मैं दिल्ली में हूं तो यह संभव नहीं है।”
न्यूज एजेंसी ANI ने पत्रकारों से बात करते हुए पासवान के हवाले से बताया, “मैंने पहले भी कहा है कि मैं खुद को लंबे समय तक राष्ट्रीय राजनीति में नहीं देखता। राजनीति में आने का एकमात्र कारण बिहार और बिहारी हैं। मेरा हमेशा से विजन रहा है ‘बिहार फर्स्ट, बिहारी फर्स्ट’ और मैं हमेशा चाहता हूं कि बिहार समृद्ध हो और दूसरे विकसित राज्यों के बराबर हो।”
मैं निश्चित रूप से चुनाव लड़ूंगा।”
LJP का फैसला- विधानसभा चुनाव लड़ेंगे चिराग
उनकी यह टिप्पणी ऐसे समय में आई है, जब एक दिन पहले ही ये खबर आई थी कि लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के संसदीय बोर्ड ने फैसला किया है कि चिराग पासवान (Chirag Paswan) किसी जनरल सीट से विधानसभा चुनाव लड़ेंगे।
सूत्रों ने बताया कि सीट पर अंतिम निर्णय अभी लिया जाना बाकी है। हालांकि, उन्होंने पुष्टि की कि यह एक सामान्य सीट होगी।
जमुई के सांसद और पासवान के साले अरुण भारती के एक सोशल मीडिया पोस्ट के बाद अटकलों ने जोर पकड़ लिया, जिसमें उन्होंने कहा, “जब नेता पूरे बिहार का होता है, तो सीट का दायरा सीमित क्यों होना चाहिए?”
बिहार में कब और कितने चरण में होंगे चुनाव?
मौजूदा बिहार विधानसभा का कार्यकाल इस साल 22 नवंबर को खत्म होने वाला है। सूत्रों ने सोमवार को बताया कि चुनाव आयोग दो से तीन चरणों में राज्य में चुनाव करा सकता है।
साथ ही, आयोग दिवाली और छठ पूजा जैसे बड़े त्योहारों के साथ होने वाली तिथियों से भी बच सकता है। मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार भी इस महीने स्थिति का जायजा लेने के लिए बिहार का दौरा करेंगे। चुनाव के लिए कर्मचारियों का प्रशिक्षण भी शुरू हो गया है।
